चंद्र ग्रहण 16 जुलाई-17 जुलाई 2019 की मध्य में यानी मंगलवार को रात 1 बजकर 32 मिनट से शुरू होकर सुबह 4 बजकर 30 मिनट तक रहेगा। हिन्दू पंचांग के अनुसार यह चंद्र ग्रहण आषाढ़ शुक्ल पूर्णिमा को उत्तराषाढ़ा नक्षत्र में लग रहा है। यह चंद्र ग्रहण खंडग्रास चंद्र ग्रहण कहलायेगा। लेकिन इस दिन आप कुछ उपाय सकते हैं जिससे कि आपको की गुना लाभ मिलेगा।
यह चंद्र ग्रहण शुरू से आखिर तक भारत के अधिकतर हिस्सों से दिखेगा। लेकिन देश के उत्तर-पश्चमी भागों में कम दिखाई देगा। अधिकतम ग्रहण रात के 3 बजे देखने को मिलेगा।
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चंद्र ग्रहण 16 जुलाई-17 जुलाई 2019 की मध्य में यानी मंगलवार को रात 1 बजकर 32 मिनट से शुरू होगा और सुबह 4.30 तक आंशिक चंद्र ग्रहण रहेगा। भारत के अलावा ग्रहण ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड और आसपास के लिए एशियाई देशों में दिखाई देगा।
खगोल विज्ञान के अनुसार चंद्रमा, पृथ्वी और सूर्य जब एक सीध में होते हैं तब ग्रहण पड़ता है। अगर हम बात करें चंद्र ग्रहण की तो सूर्य और चंद्रमा के बीच पृथ्वी आ जाती है और चंद्रमा पर पृथ्वी की प्रच्छाया पड़ती है तो इस स्थिति को चंद्र ग्रहण कहते हैं।
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पूर्णिमा की रात को चंद्रमा पूर्णत: गोलाकार दिखाई पड़ना चाहिए, किन्तु कभी-कभी अपवादस्वरूप चंद्रमा के पूर्ण बिम्ब पर धनुष या हसिया के आकार की काली परछाई दिखाई देने लगती है। कभी-कभी यह छाया चांद को पूर्ण रूप से ढक लेती है। पहली स्थिति को चन्द्र अंश ग्रहण या खंड-ग्रहण कहते हैं। दूसरी स्थिति को चंद्र पूर्ण ग्रहण या खग्रास कहते हैं। चंद्रमा सूर्य से प्रकाश प्राप्त करता है।
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